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Budget 2022 : जानें, Cryptocurrency और Digital Currency में क्या है अंतर?
आज एडिटरजी आपको बताने जा रहा है कि आखिर डिजिटल करेंसी और क्रिप्टो करेंसी ( Difference between Digital Currency and Cryptocurrency ) में अंतर क्या है.
ये क्रिप्टो, क्रिप्टो क्या है, ये क्रिप्टो क्रिप्टो. बजट 2022 के वक्त, क्रिप्टो में निवेश कर चुके करोड़ों लोगों का ध्यान वित्त मंत्री पर सिर्फ इसीलिए था कि वे जान सकें, वित्त मंत्री इस मार्केट से जुड़ा क्या ऐलान करेंगी. वित्त मंत्री ने आरबीआई द्वारा डिजिटल करेंसी ( RBI Digital Currency ) जारी करने की घोषणा की और मुनाफे पर 30 पर्सेंट टैक्स की बात भी की लेकिन क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कोई ऐलान नहीं किया. आज एडिटरजी आपको क्रिप्टो ब्लॉग बताने जा रहा है कि आखिर डिजिटल करेंसी और क्रिप्टो करेंसी ( Difference between Digital Currency and Cryptocurrency ) में अंतर क्या है.
कौन करता है जारी
- डिजिटल करेंसी या CBDC को सरकार या सेंट्रल बैंक जारी करती है. इसे रेग्युलेट सेंट्रल बैंक करता है
- क्रिप्टोकरेंसी को निजी संस्थाएं स्वतंत्र रूप से डेवलप करती हैं. क्रिप्टो के लिए ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल होता है, जो क्रिप्टो ट्रांजेक्शन का हिसाब रखने वाला डिजिटल बहीखाता प्रणाली है.
किसके पीछे कौन?
डिजिटल करेंसी को देश और सेंट्रल बैंक जारी करते हैं, इसका मतलब है कि टेक्निकल ब्रेकडाउन की स्थिति में यही रेग्युलेटर उसे कंट्रोल करेंगे.
डिजिटल करेंसी सेंट्रलाइज्ड है; लेनदेन की प्रक्रिया, सेंट्रल बैंक से जुड़े सर्वर से होती है.
व्यापक तौर पर उतार-चढ़ाव वाली कीमतों के साथ ट्रेड किए जाने वाले एसेट से उलट, सेंट्रल बैंक की डिजिटल करेंसी, फिजिकली अस्तित्व में नहीं होती है लेकिन इसकी स्वीकृति बड़े पैमाने पर होती है.
उधर, क्रिप्टोकरेंसी अपने बने स्ट्रक्चर के अंदर डीसेंट्रलाइज्ड होती है; नियम, क्रिप्टो कम्युनिटी में ज्यादातर पार्टिसिपेंट्स के जरिए तय किए जाते हैं और इनमें अनियमित अस्थिरता होती है.
डिजिटल करेंसी / CBDC कौन इस्तेमाल कर रहा है ?
चीन का सेंट्रल बैंक, अपने सीबीडीसी प्रोजेक्ट पर काम कर रहा है, चीन के कुछ प्रांतों में ट्रायल के तौर पर युआन का एक वर्चुअल वर्शन जारी किया गया है. पीपल्स बैंक ऑफ चाइना, सीबीडीसी को पूरी तरह से लॉन्च करने वाली पहली संस्था हो सकती है. चीन, पहले ही सभी क्रिप्टो पर बैन लगा चुका है.
जापान में, लगभग 70 जापानी फर्मों का एक कंसोर्टियम जिसमें देश के तीन मेगा-बैंक भी शामिल हैं, वे 2022 के मध्य में डिजिटल करेंसी के इस्तेमाल से जुड़ा प्रयोग शुरू करेंगे.
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Forex strategy
When starting to trade in Forex, a trader is faced with the question “What strategy should be used to trade?”. Consider in the article strategies for different timeframes
जोखिम बढ़ा, क्रिप्टो से एशिया की अर्थव्यवस्थाओं पर निवेशकों के हित के लिए कदम उठाना है जरूरी
अंकटाड क्रिप्टो ब्लॉग ने कहा है कि कुछ लोगों या संस्थानों को डिजिटल मुद्रा के लाभ, वित्तीय स्थिरता, घरेलू क्रिप्टो ब्लॉग संसाधन सक्रियता, और मुद्रा प्रणालियों की सुरक्षा के लिये उत्पन्न उनके जोखिमों के निचे में दब जाते हैं.
यूएन एजेंसी ने सचेत किया है कि अलबत्ता व्यक्तिगत डिजिटल मुद्राओं ने कुछ व्यक्तियों और संस्थानों को मिला है, मगर वो एक ऐसी अस्थिर वित्तीय सम्पदा हैं जो सामाजिक रिस्क और लागतें उत्पन्न कर सकती हैं.
भारत आतंकी गतिविधियों से बहुत ज्यादा प्रभावित रहा है। कश्मीर में लंबे समय से आतंकी गतिविधियों के कारण हालात समान्य नहीं हो पा रहे हैं
जम्मू-कश्मीर पुलिस की राज्य जांच एजेंसी (एसआईए) ने बुधवार को बिटकॉइन ट्रेड (Bitcoin Trade) के मामले में कई स्थानों पर छापेमारी की। इस दौरान जांच एजेंसी (Security Agency) को डिजिटल उपकरण, सिम कार्ड, मोबाइल फोन और कई जरूरी
कुछ समय पहले फाइनेंशियल स्टेबिलिटी रिपोर्ट में RBI के द्वारा जताई गई आशंकाओं पर अब आईएमएफ ने भी मुहर लगा दी है. आईएमएफ ने एशिया खासतौर पर भारत और ताइवान जैसे देशों में क्रिप्टो में बढ़ते निवेश पर चिंता जताते हुए इस पर कदम उठाने की बात कही है जिससे निवेशकों के हितों को सुरक्षित रखा जा सके|
आईएमएफ के एक ब्लॉग में चेतावनी दी गई है कि क्रिप्टो एसेट्स फाइनेंशियल स्टेबिलिटी के लिए खतरा बन सकते हैं. यही बात रिजर्व बैंक ने अपनी स्टेबिलिटी रिपोर्ट में भी कही थी. इस ब्लॉग में एशियाई देशों में भारत में बढ़ते निवेश की भी बात कही गई है|
रिपोर्ट में कहा गया है की पेमेंट डिजिटल होने से फाइनेंशियल इंक्लूजन बढ़ा है. वहीं क्रिप्टो का बढ़ता चलन पूरे सिस्टम के लिए खतरा भी बन गया है. आईएमएफ के ब्लॉग में कहा गया है कि भारत से लेकर वियतनाम और थाइलैंड में क्रिप्टों का चलन तेजी से बढ़ा है और वो क्षेत्रीय क्रिप्टो ब्लॉग फाइनेंशियल सिस्टम पर असर डालने की स्थिति तक पहुंच सकता है|
ब्लॉग में कहा गया कि महामारी क्रिप्टो ब्लॉग से पहले क्रिप्टो और देशों के फाइनेंशियल सिस्टम एक दूसरे से अलग थे और एशिया के इक्विटी मार्केट के साथ इनका कोई सीधा संबंध नहीं देखने को मिलता था. जिस वजह से ये सोचने की कोई वजह नहीं थी कि क्रिप्टो से फाइनेंशिल स्टेबिलिटी पर असर पड़ेगा|
भारत सरकार ने किसी भी प्रकार की क्रिप्टोकरेंसी को लीगल नहीं कहा है। इसके बाद भी लोग बड़े पैमाने पर इसमें निवेश कर रहे हैं। भारत में अलग-अलग क्रिप्टोकरेंसी में कुल निवेश वर्ष 2021 क्रिप्टो ब्लॉग में 15 गुना बढ़कर 438.18 मिलियन अमेरिकी डॉलर हो गया है।
टेरर फंडिंग में क्रिप्टोकरेंसी के इस्तेमाल की खबर आने से एक बाद तो साफ हो गई है कि क्रिप्टोकरेंसी में जो भी पैसा निवेश किया जा रहा है वह सुरक्षित तो कतई नहीं है।
आतंकियों के बीच (Terror Funding) के लिए क्रिप्टो के उपयोग का पहला मामला मई 2020 में सामने आया था। तब Philippine Institute for Peace, Violence and Terrorism Research (PIPTVR) ने दुनिया के सबसे खूंखार आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट (Islamic State) की ओर से क्रिप्टोकरेंसी में लेनेदेन करने के मामले का खुलासा किया था।
यह सब कुछ फिलिपिंस की सरकार के नाक के नीचे हो रहा था। इस पैसे का इस्तेमाल इस्लामिक स्टेट ने दक्षिणी फिलिपिंस के मिंडानाओ क्षेत्र में अपनी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए किया था।
आतंकी संगठन अगर अपने हिसाब से क्रिप्टोबाजार (Crypto Market) को नियंत्रित करने लगे तो क्रिप्टो का यह बुलबुला कभी भी फूट सकता है, इससे क्रिप्टो में निवेश करने वाले एक क्रिप्टो ब्लॉग बड़े वर्ग को झटका लग सकता है।
Crypto Market : वैसे भी 2022 की शुरुआत से ही दुनियाभर के क्रिप्टोकरेंसी बाजार का हाल बुरा है। वर्तमान में दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन 22,824 अमेरिकी डॉलर (1,821,550.94 रुपये) के लेवल पर कारोबार कर रही है। पिछले क्रिप्टो ब्लॉग एक वर्षों के दौरान में 42 प्रतिशत से अधिक की कमी दर्ज की जा चुकी है।
TDS on Crypto: 1 जुलाई से लागू होगा नया नियम, किन ट्रांजैक्शन पर कटेगा टीडीएस और किन पर नहीं?
क्रिप्टो एक्सचेंज CoinDCX ने बताया है कि उसके ऐप पर 1% TDS नियम किस तरह से लागू किया जाएगा. आइए जानते हैं कि CoinDCX ने अपने ब्लॉग पोस्ट में क्या कहा है.
1 जुलाई से सभी क्रिप्टो ट्रांजेक्शन पर निवेशकों को 1 फीसदी TDS का भुगतान करना होगा.
TDS on Crypto from July 1: भारत में सबसे बड़े क्रिप्टो एक्सचेंजों में से एक, CoinDCX ने हाल ही में अपने ऐप के ज़रिए क्रिप्टो लेनदेन पर 1% TDS नियम लागू करने की घोषणा की है. बता दें कि 1 जुलाई से सभी क्रिप्टो ट्रांजेक्शन पर निवेशकों को 1 फीसदी TDS का भुगतान करना होगा. भारत सरकार ने एलान किया है कि क्रिप्टो और अन्य वर्चुअल डिजिटल एसेट्स की बिक्री पर 1 जुलाई 2022 से 1% टीडीएस लागू होगा. केंद्रीय बजट 2022 में, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा था कि 1 जुलाई से वर्चुअल एसेट्स की बिक्री के लिए किए गए भुगतान पर 1% का टीडीएस लगाया जाएगा. 1% टीडीएस के अलावा, सीतारमण ने क्रिप्टो और एनएफटी सहित डिजिटल वर्चुअल एसेट्स के ट्रांजेक्शन से होने वाली इनकम पर 30% टैक्स की घोषणा भी की है.
एक ऑफिशियल ब्लॉग पोस्ट में, CoinDCX ने बताया है कि उसके ऐप पर 1% TDS नियम किस तरह से लागू किया जाएगा. आइए जानते हैं कि CoinDCX ने अपने ब्लॉग पोस्ट में क्या कहा है.
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इन ट्रांजेक्शन पर नहीं कटेगा TDS
- Buy, लिमिट Buy, CIP और क्रिप्टो ब्लॉग अर्न ऑर्डर पर कोई टीडीएस लागू नहीं होगा.
- CIP, CoinDCX द्वारा ऑफर की जाने वाली क्रिप्टो इन्वेस्टमेंट प्लान का संक्षिप्त रूप है. यह भी एक तरह का Buy ऑर्डर है.
इन ट्रांजेक्शन पर लागू होगा TDS
- सेल और लिमिट सेल ऑर्डर पर 1% टीडीएस काटा जाएगा.
- एक्सचेंज ने कहा है कि सभी यूजर्स को ऐप पर कोई भी ट्रांजैक्शन करने के लिए 1 जुलाई 2022 को या उससे पहले अपनी KYC प्रक्रिया अनिवार्य रूप से पूरी करनी होगी.
- वित्तीय वर्ष के लिए ITR दाखिल करते समय 1% टीडीएस को रिफंड के रूप में क्लेम किया जा सकता है यदि देय आयकर कटौती टीएस से कम है.
- एक्सचेंज ने कहा है कि सभी क्रिप्टो एसेट्स पर सेल ट्रांजेक्शन पर 1% टीडीएस लागू होगा.
एक्सचेंज ने अपने ब्लॉग पोस्ट में आगे लिखा है, “TDS 1 जुलाई 2022 से सभी क्रिप्टो एसेट्स पर प्रत्येक सेल ट्रांजेक्शन पर लागू होगा. क्रिप्टो एसेट बेचने से पहले आप सेल ऑर्डर स्क्रीन पर (क्रिप्टो ब्लॉग i) बटन पर क्लिक करके टीडीएस डिडक्शन देख सकते हैं. आप सभी ट्रांजेक्शन में अपनी टीडीएस कटौती देखने के लिए “Order Details” पेज भी देख सकते हैं. इस तरह, आपको अपने बैंक अकाउंट में CoinDCX वॉलेट से INR निकालने के लिए TDS का भुगतान करने की जरूरत नहीं है क्योंकि आप पहले ही TDS का भुगतान कर चुके हैं जब आपने अपना क्रिप्टो बेचा और अपने वॉलेट में बदले में INR प्राप्त किया.”
(Article : Rajeev Kumar)
(क्रिप्टो और अन्य वर्चुअल डिजिटल एसेट्स भारत में अन-रेगुलेटेड हैं. उन्हें निवेश के लिए बेहद जोखिम भरा माना जाता है. कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले कृपया अपने वित्तीय सलाहकार की सलाह जरूर लें.)